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लाडली बहना योजना’ इसके बारे में बताने के लिए सिर्फ इसका नाम ही काफी होगा क्योंकि यह एक मात्र ऐसी योजना है जिसका नाम मध्य प्रदेश राज्य के बच्चे बच्चे की जुबान पर है। वहीं जैसा कि हमने आपको अपने पिछले कई आर्टिकल्स में जानकारी देते हुए बताया कि मध्य प्रदेश में लाडली बहना योजना की शुरुआत प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान द्वारा की गई थी।
वहीं मध्य प्रदेश सरकार द्वारा लाडली बहना योजना के आरंभ होने के दौरान ही सबसे पहले इसकी पात्रता सूची जारी कर दी गई थी जिसके तहत सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण था महिलाओं को बैंक खातों में डीबीटी का चालू करवाना जिसके बाद से ही महिलाओं की दौड़ सारे काम छोड़कर सरकारी कार्यालय और बैंक शाखाओं में लगनी शुरू हो गई थी। लेकिन अब महिलाओं को लाडली बहना योजना के लाभ से डीबीटी की वजह से ही वंचित होना पड़ रहा है।
महिलाओं को हो रही डीबीटी से समस्या
लाडली बहना योजना का लाभ लेने के लिए सबसे जरूरी होता है आवेदक महिला के बैंक अकाउंट में DBT चालू होना क्योंकि सरकार द्वारा जारी की जाने वाली लाडली बहना योजना के तहत आर्थिक सहायता राशि को DBT से लिंक बैंक अकाउंट में ही डाला जाता है लेकिन अब यही DBT महिलाओं के लिए बहुत बड़ी समस्या बनी हुई है क्योंकि आए दिन महिलाओं के अकाउंट में डीबीटी के कारण कोई न कोई दिक्कत उत्पन्न हो रही है जिससे उनको लाडली बहना योजना की किस्त का पैसा नहीं प्राप्त नहीं हो पा रहा।
लगातार पिछले 3 महीने से बहनों को नहीं मिला लाभ
जहां एक तरफ मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव बार-बार अपनी जनसभाओं में जनता के समक्ष यह ऐलान कर रहे हैं की लाडली बहना योजना को निरंतर चलाया जाएगा और सभी महिलाओं को लगातार लाभ मिलता रहेगा वहीं दूसरी तरह लग रहा है की शायद यह बातें अब सिर्फ चुनावी भाषण बनकर ही रह गई है
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क्योंकि हजारों महिलाओं को पिछले तीन महीनों से लाडली बहना योजना की किस्त प्राप्त नहीं हो रही जिसका कारण महिलाओं की DBT में आ रही समस्याएं और उनके बैंक अकाउंट का मिनिमम बैलेंस मेंटेन ना होना बताया जा रहा है, पर उससे प्रशासन पर कोई फर्क नहीं पड़ रहा।
लाखों महिलाओं के नाम काटे योजना से
लाडली बहना योजना में जितनी तेजी से महिलाओं ने आवेदन किया था उतनी ही तेजी से उनके नाम योजना से बाहर किये जा रहे हैं। दरअसल कई लाभार्थी महिलाओं के बैंक अकाउंट और डीबीटी में समस्या आ रही है वहीं कुछ महिलाओं की डीबीटी बंद बता रही है तो कुछ महिलाओं के अकाउंट का मिनिमम बैलेंस मेंटेन नहीं है जो बैंक द्वारा निर्धारित किया जाता है।
इसके साथ ही कुछ महिलाएं ऐसी भी है जिनकी KYC प्रक्रिया तक पूरी रही हुई है जिस वजह से वह तेजी से लाडली बहना योजना से बाहर हो रही है। बता दें प्रदेश से अब तक लाखों की संख्या में महिलाएं लाडली बहना योजना से बाहर कर दी गई है और उनके नाम योजना से हटा दिए गए हैं।
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